<!--Can't find substitution for tag [blog.voiceofbasti.page]--> - Voice of basti

Voice of basti

सच्ची और अच्छी खबरें

Breaking

वॉयस ऑफ बस्ती में आपका स्वागत है विज्ञापन देने के लिए सम्पर्क करें 9598462331

Wednesday, October 16, 2024

जंगलेश्वर महादेव मंदिर लोह गंजारी को गरुड़जी ने नागों से मुक्त कराया था - आचार्य डॉ. राधेश्याम द्विवेदी


लोह गंजारी गांव में जंगलेश्वर महादेव जी का मंदिर है। यहां पर धर्मदेव के मित्र संध्यागिरि साधु रहते थे। घनश्याम महराज को लेकर धर्मदेव पिता अक्सर यहां आया करते थे। यहां पर घनश्याम महराज कई आश्चर्य चकित करने वाले कृत्य किए हैं 

धर्मदेव के मित्र संध्यागिरि साधु प्रतिदिन

जंगलेश्वर महादेव जी के मंदिर की सेवा पूजा किया करते थे। 

     मंदिर के चारो तरफ बड़ा बगीचा था। उसमे बड़े बड़े नाग निवास करते थे। इस कारण से कई बार शंकर जी की पूजा में दिक्कतें आ जाती थी। 

   साधु ने एक बार घनश्याम महराज से प्रार्थना किया कि हे भगवान! हमारा ये कष्ट दूर करें। 

   घनश्याम महराज हंसते हंसते हुए गरुण महाराज को याद किया।तुरन्त गरुण जी महाराज नमस्कार मुद्रा में सामने उपस्थित हो गए। गरुण जी को देखते ही सारे नाग पाताल लोक में चले गए। यह स्थान एकदम निर्भय बन गया। 

     एक बार लखनऊ के नबाब ने लोह गंजरी गांव पर सैनिक भेजे थे। तब साधु की प्रार्थना पर घनश्याम महराज ने अपना प्रताप दिखाया था कि गांव के अन्दर से अरबी सेना बाहर आ रही है। नबाब के सैनिक को पता चला। इस कारण हथियार गोले बारूद छोड़ कर भाग गए ।

    मंदिर  के पिछले भाग में साधु ने कुम्हड़ा लगाया था। कुम्हड़े बहुत बड़े बड़े थे। बड़ा भाई अकेले उसे उठा नहीं सकते थे। छपिया के घन श्याम महराज ने उसे एक हाथ से ही उठा दिया था। यहां पर कई आश्चर्य जनक कार्य घन श्याम महराज ने किया है। यह एक प्रसादी का स्थल है। यहां भी एक छतरी बनी रहती है।

No comments:

Post a Comment

Post Bottom Ad

Responsive Ads Here

Pages