भोपाल। आपदाकाल में मल्टी टास्किंग के साथ तकनीकी रूप से विशेषज्ञता हासिल कर मीडिया विद्यार्थियों को आत्मनिर्भर बनने की तरफ आगे बढ़ना चाहिए। एमसीयू के जनसंचार विभाग में बैक टू कैंपस कार्यक्रम में कुलपति प्रो. केजी सुरेश ने विद्यार्थियों से आपदाकाल की चुनौतियों को अवसर में बदलने की बात कही। विभागीय न्यूज रूम द्वारा ऑनलाइन माध्यम के उपयोग से विद्यार्थियों द्वारा किये जा रहे प्रोडक्शन कार्यों की सराहना करते हुए प्रोफेसर केजी सुरेश ने कोविड आपदा के दौरान घर पर रहकर प्रोडक्शन कार्य करने के लिए विद्यार्थियों को प्रशस्ति पत्र दिए जाने की घोषणा भी की। उन्होंने विद्यार्थियों से सोशल मीडिया प्लेटफार्म जैसे ब्लागिंग, यूटूय्ब आदि से जुड़ने का आह्वान करते हुए कहा कि सोशल मीडिया आपके लिए दर्पण के समान है, वहां आप जो समाज के लिए करते हैं, वह दिखाई देना चाहिए। उन्होंने युवा मीडिया कर्मियों को ग्रामीण अंचलों को गहराई से समझने और इसके लिए वहां तक पहुंचने को जरूरी बताया।
इस मौके पर कुलपति प्रो. सुरेश ने कहा कि मीडिया का भविष्य भाषा और मल्टी स्पेशलिटी पर निर्भर होगा, इसके लिए हमें भी पारंगत होने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि अरुचि होने पर भी किसी विषय में ज्ञान हासिल करना कभी न कभी आपको लाभान्वित करता है। उन्होंने कहा कि बहुमुखी प्रतिभा से पारंगत युवाओं को नौकरी के लिए भटकना नहीं पड़ता है क्योंकि आज के दौर में मीडिया उद्योग में ऐसे लोगों की ही आवश्यकता है जो एक साथ कई कार्यों में विशेषज्ञता रखते हों। इस अवसर पर ऑनलाइन रहकर विद्यार्थियों द्वारा प्रकाशित सत्रारंभ विषय पर हिन्दी एवं अग्रेजी समाचार पत्र का विमोचन भी कुलपति द्वारा किया गया। उन्होंने विभाग के विद्यार्थियों के साथ खुला संवाद भी किया और गगन परमार, गरिमा कुमारी, डिंपल तिवारी और राहुल राजपूत, स्वीटी जैन, तनीशा एवं गगन परमार सहित अन्य विद्यार्थियों ने कोविड काल के अनुभव साझा किये। इस अवसर पर जनसंचार विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. आशीष जोशी ने कोविड काल में हुए शैक्षणिक कार्यक्रमों के बारे में जानकारी प्रदान की। कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रोफेसर अविनाश वाजपेयी, विभागीय समन्वयक प्रदीप डहेरिया, डॉ. उर्वशी परमार, न्यूज रूम प्रभारी परेश उपाध्याय, सुश्री गरिमा पटेल, सुश्री संगीता जैन सहित विभाग के शिक्षक एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।
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